New Goernment, new name | नई सरकार- नए नाम
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सुनने में आ रहा है कि हमारे वर्तमान मुख्यमंत्री, पूर्व मुख्यमंत्री द्वारा अपनी विचार धारा के लोगों और शब्दों से जिन जिलों का नामकरण किया था. उनका पुनः नामकरण करने वाले है , यानि बदलने वाले है. खैर वह यह काम बड़ी आसानी से कर सकते हैं? बहन मायावतीजी को भी किसी ने नहीं रोका था और भैया अखिलेशजी को तो रोकने का सवाल ही नहीं उठता? वैसे भी उन्होंने ज्यादा रनों से मैच जीता है और उनके पांच साल तक बने रहने में कोई संदेह नहीं है. चलिए इसी बहाने एक बार हम कुछ शब्दों पर गौर करते हैं - सी.एस.एम.के.यू., डी.डी.यू.जी.यू., जे.एन.यू., आई.जी.एन.ओ.यू.. क्या आपको पता है कि ए हमारे विश्वविद्यालयों के नाम हैं न कि ए बी सी डी के बिखरे हुए शब्द और इसका कारण हमारे राजनैतिक दल हैं जो अपनी पार्टी या विचारों से जुड़े लोगों को अमर बनाए के लिए सरकारी खर्चे पर यह काम आसानी से कर लेते हैं. किसी भी संस्था का नाम बड़े-बड़े विशेषणों से युक्त नामों पर रख दिया जाता है, चाहे उस व्यक्ति का उस जगह से सम्बन्ध हो या न हो, कोई मायने नहीं रखता. अब चाहे जिस दल कि स